Friday, 2 May 2025

शिक्षक सेमिनार में कहानी उत्सव कराने वाले शिक्षकों को किया गया सम्मानित

 विकासखण्ड स्त्रोत केंद्र, बेमेतरा एवं अज़ीम प्रेमजी फाउंडेशन के संयुक्त योगदान से दिनांक 01 मई 2025 को विकासखण्ड स्त्रोत केंद्र, बेमेतरा के प्रशिक्षण भवन में शिक्षक सेमिनार एवं सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। इस एक दिवसीय आयोजन में ‘विकासखण्ड स्तरीय कहानी उत्सव’ आयोजित करने वाले 176 शिक्षकों में से उन 62 शिक्षकों को सम्मानित किया गया जिन्होंने विकासखण्ड स्त्रोत समन्वयक, बेमेतरा के आग्रह पर अपनी-अपनी शाला/कक्षा के बच्चों को 6 से लेकर 24 सप्ताह तक निरंतर कहानी सुनाते हुए बच्चों में बुनियादी साक्षरता कौशल विकसित कराने हेतु कार्य किया।

          ज्ञात हो कि बेमेतरा विकासखण्ड स्त्रोत समन्वयक श्री राजेन्द्र कुमार साहू ने प्रत्येक बच्चों में FLN (Foundational Literacy & Numeracy) सुनिश्चित कराने की दिशा में कार्य करते हुए सितंबर 2024 में विकासखण्ड स्तरीय कहानी उत्सव (हर सप्ताह एक कहानी) की शुरुआत की थी। इसके अंतर्गत मुस्कान पुस्तकालय से हर सप्ताह एक कहानी एवं उससे संबंधित गतिविधियां (जिसमें भाषा सिखाने के 4 ब्लॉक मॉडल मौखिक भाषा विकास, डिकोडिंग, पठन, लेखन संबंधी गतिविधियों का समावेश होता था) एक बुकलेट संकुल समन्वयकों के माध्यम से साझा की जाती थी। शिक्षक अपनी कक्षा में बच्चों के साथ उन गतिविधियों को कराते थे व इससे संबंधित फोटो/विडिओ व्हाट्सएप समूह में साझा करते थे। सितंबर से मार्च माह तक कुल 26 कहानियाँ उन्होंने साझा किए।  

सम्मानित किए गए शिक्षकों में से 7 ने अपने-अपने कार्यानुभव, अलग-अलग थीम पर केंद्रित होकर कार्य करने के अनुभव, कहानी उत्सव में लंबे समय तक सहभागिता से बच्चों के स्तर में आए बदलाव, उनकी शिक्षकीय प्रक्रिया में आए बदलाव को सभी उपस्थित 50 से अधिक शिक्षकों, शिक्षा अधिकारियों के समक्ष Power point Presentation के माध्यम से साझा किया। 

निम्न शिक्षकों ने अपना प्रस्तुतीकरण दिया-

क्रम

शिक्षक का नाम

शाला का नाम

विषयवस्तु

01

भगवती प्रसाद मार्कन्डेय

प्रा. शाला तरके

(चरगवा संकुल)

FLN प्राप्ति हेतु बाल साहित्य (मुस्कान पुस्तकालय) का प्रयोग: 6 माह के अनुभव का सार

02

बबली वैष्णव

प्रा. शाला, मुड़पार (बिलाई संकुल)

कहानी के माध्यम से वर्ण-मात्राओं का ज्ञान: 6 माह के अनुभव का सार

03

रश्मि तिवारी

प्रा. शाला, पड़कीडीह  (झाल संकुल)

सक्रिय पुस्तकालय हेतु कहानी की भूमिका: 6 माह के अनुभव का सार

04

चंद्रहास सोनी

प्रा. शाला, बहुनवागाँव  (पिकरी संकुल)

पुस्तकालय के उपयोग से बच्चों में पढ़ने की आदत का निर्माण: 6 माह के अनुभव का सार

05

किरण खरे

प्रा. शाला, सिंघोरी (सिंघोरी संकुल)

कहानी सुनाना एक कला: 6 माह के अनुभव का सार

06

मनीषा कौशल

प्रा. शाला, नवागाँव (हेमाबंद संकुल)

कहानी के माध्यम से भाषा के 4 ब्लॉक मॉडल पर काम: 6 माह के अनुभव का सार

07

ज्योति किरण साहू

प्रा. शाला, मटका (मटका संकुल)

Story telling with code mix

 

इन सभी शिक्षकों ने साझा की गई कहानियों पर कार्य करते हुए अलग अलग थीम पर केंद्रित रहते हुए अपना प्रस्तुतीकरण दिया। इन शिक्षकों के कार्यों की सराहना करने एवं फीडबैक देने के लिए सेमिनार में तीन पैनालिस्ट (विषय विशेषज्ञ) भी शामिल हुए। ये पैनलिस्ट थे – सुश्री प्रतिभा साहू (शासकीय प्राथमिक शाला, बेरला) सुश्री सावित्री साहु (शासकीय प्राथमिक शाला, जामगाँव, बेरला) श्रीमती मोनिका (सदस्य, अज़ीम प्रेमजी फाउंडेशन, बेरला)। इन सभी ने सभी 7 शिक्षकों की प्रस्तुतीकरण के बाद उनके कार्यों की समीक्षा करते हुए और क्या-क्या बेहतर कर सकते हैं? इसपर बात रखे।  

प्रस्तुतिकरण के बाद सभी प्रतिभागी शिक्षकों को बेमेतरा जिला शिक्षा अधिकारी डॉ. कमल कपूर बंजारे, बेमेतरा जिला मिशन समन्वयक (समग्र शिक्षा) श्री नरेन्द्र वर्मा, सहायक जिला मिशन समन्वयक भूपेन्द्र साहू एवं धनंजय शर्मा, बेमेतरा विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी श्री अरुण खरे, बेमेतरा बीईओ जी एन सिंह बेमेतरा विकासखण्ड स्त्रोत समन्वयक, श्री राजेन्द्र कुमार साहू व अन्य उपस्थित शिक्षा विभाग के अधिकारियों के द्वारा प्रमाण पत्र वितरित किया गया। संकुल अकादमिक समन्वयक डोमेन्द्र पाण्डेय, चुरावन वर्मा, चैतराम सेन, आदि की भी गरिमामय उपस्थिति रही।

सेमिनार से पूर्व प्रतिभागी शिक्षकों को प्रस्तुतीकरण के लिए तैयार करने से लेकर सेमिनार आयोजन में अज़ीम प्रेमजी फाउंडेशन, बेमेतरा के सदस्यों (राघवेंद्र, जयप्रकाश, श्रेया, स्वरूपा, वासु, पवन, साकेत, मनीष एवं कुमुद) की सक्रिय भूमिका रही।